Latest News

पेड़ लगाने तत्पर दिख रहे थे वनरक्षक अगर उतने तत्पर अपने बीट में रहते तब नहीं होती वनों की दुर्दशा

1000570528

रायगढ़ जिले के धरमजयगढ़ वनमण्डल ऐसा वनमण्डल है जहाँ तरह-तरह के मामले देखने और सुनने को मिलते है। जिसमें पेड़ों की कटाई से लेकर पेड़ों की चिराई सब मामले सामने आते है। जानकारी बता दें की धरमजयगढ़ वन मंडल में धरमजयगढ़ परिक्षेत्र, बोरों, कापू, छाल जैसे कई परिक्षेत्र आते है जिसमें 17 जुलाई को धरमजयगढ़ के खलबोरा गांव में वन महोत्सव कार्यक्रम का आयोजन किया गया है कार्यक्रम में मुख्य अतिथी राधेश्याम राठिया को बनाया गया था जो किसी कारणवश कार्यक्रम में नहीं आ सके। बीतें दिनों से ही कार्यक्रम विवादों में रहा क्युकी कोंग्रेसी नेताओं का आरोप था की विधायक को नहीं बुलाया गया साथ ही आज जानकारी मिली की ऐसा ही कुछ भाजपा के लोगों के साथ हुआ जिस कारण कार्यक्रम विवादों में रहा। कार्यक्रम में पौधरोपण किया गया और वन विभाग द्वारा संदेश दिया गया की पर्यावरण की रक्षा करें पेड़ बचाए और पौधरोपण करें। पर सवाल यह खड़ा होता है की उसी वनमण्डल के किसी परिक्षेत्र में ज़ब पेड़ों को काटा जाता है और उसकी जंगलों में ही चिराई की जाती है तब वन विभाग इसपर कोई कठोर कार्यवाही के बजाय ऐसा कार्यवाही करता है जो समझ से परे हो, अगर देखा जाए तो पूरे वनमण्डल में ऐसे कई मामले मिलेंगे जिसमें जंगलों को साफ किया गया है और इसका खबर समाचार पत्रों में प्रकाशित किया गया है जिसके बाद भी पेड़ों की बली चढ़ाने वाले तो दूर जिस कर्मचारी को पेड़ों की रक्षा करने के लिए रखा गया है उनपर भी क्या कार्यवाही होती है किसी को पता नहीं चलता। हाल ही में धरमजयगढ़ वनमण्डल के जबगा बीट में पेड़ों की चिराई का मामला सामने आया था जिसका खबर समाचार पत्रों में प्रकाशित हुआ। वही मिली जानकारी के अनुसार लकड़ी जप्ती कर लिया गया है पर जो जांच टीम बनी थी उन्हें कुछ नहीं मिला जिससे सवाल खड़ा होता है की उस क्षेत्र के वनरक्षक को इस मामले में क्यों अभयदान दिया जा रहा है जबकि जंगल की सुरक्षा करने की जिम्मेदारी उसकी थी।

Mukesh Mourya

मुकेश मौर्य (संपादक) ग्रामीण न्यूज़ 24 , पता - रायगढ़ , छत्तीसगढ़ मो . +919752981420

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

style=
Back to top button
error: Content is protected !!